Birbhum West Bengal Violence Updates: पश्चिम बंगाल के बीरभूम में हुई हिंसा को लेकर पीड़ितों का छलका दर्द, ममता प्रशासन से वीरभूम निर्षंश हत्याकांड पीड़ितों को न्याय की उम्मीद नहीं, CBI जांच की मांग, इस घटना में मरने वाले लोगों के शवों को परिवार वालों को नहीं सौंपे जाने को लेकर आक्रोश का माहौल
पश्चिम बंगाल(West Bengal) के बीरभूम (Birbhum) में लोगों को जिंदा जला देने की घटना से सारा देश स्तब्ध है. जब पुलिस आग में जले हुए लोगों के कंकालों को अपने कब्जे में ले रही थी तो इस दृश्य को देखकर कठोर से कठोर व्यक्ति भी सिहर उठा.
जहां इस घटना को लेकर बीरभूम हिंसा(Birbhum Violence) के पीड़ित परिवार वाले पूरी तरह से प्रशासन को जिम्मेदार मान रहे हैं और इसे गहरी साजिश का हिस्सा बता रहे हैं तो वहीं पुलिस प्रथम दृष्टया इसे आपसी रंजिश का मामला मान रही है.
बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी(Mamta Banerjee) ने बीते दिन पीड़ित परिवार वालों से मुलाकात की थी और परिवार वालों को सरकार की तरफ से मुआवजे का चेक दिया था
बीरभूम के दौरे के दौरान बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने यह भी कहा था कि यह घटना बेहद निंदनीय है लेकिन विपक्ष को इस पर राजनीति नहीं करनी चाहिए.
ममता बनर्जी के दौरे के बाद भी बीरभूम हिंसा के पीड़ितों का गुस्सा कम नहीं हो रहा है. पीड़ित परिवार वालों का आरोप है कि अगर प्रशासन चाहता तो जो लोग जलकर मरे वह नहीं मरते, क्योंकि जिस स्थान पर यह मौत का तांडव हुआ वहां से पुलिस स्टेशन की दूरी मात्र 2 किलोमीटर है.
पीड़ित परिवारों का यह भी आरोप है कि प्रशासन ने मृतकों के शवों को देने में भी आनाकानी की थी. पीड़ित परिवार प्रशासन के गैर जिम्मेदाराना व्यवहार से पूरी तरह से क्षुब्ध हैं और वे चाहते हैं कि बीरभूम निर्षंश हत्याकांड की CBI से जांच हो तभी दूध का दूध पानी का पानी होगा.
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